अंधविश्वास,डायन (टोनही) प्रताड़ना एवं सामाजिक कुरीतियों के खिलाफ जनजागरण

I have been working for the awareness against existing social evils,black magic and witchcraft that is prevalent all across the country and specially Chhattisgarh. I have been trying to devote myself into the development of scientific temperament among the mass since 1995. Through this blog I aim to educate and update the masses on the awful incidents & crime taking place in the name of witch craft & black magic all over the state.

Sunday, November 12, 2017

अंधविश्वास के कारण भी  प्रताड़ना और  मानवाधिकार हनन                          **जिनेवा मे व्याख्यान* *                @प्रदेश के वरिष्ठ नेत्र विशेषज्ञ एवं अंधश्रद्धा निर्मूलन समिति के अध्यक्ष डॉ .दिनेश मिश्र ने  यूनाइटेड नेशंस द्वारा जिनेवा में आयोजित  अंतरराष्ट्रीय कार्यशाला मे कहा कि संसार के अनेक देशों से अंधविश्वास के कारण महिलाओ के साथ प्रताड़ना की घटनाएं घटती है और उनके मानवाधिकार हनन के मामले सामने आते है ,जो चिंतनीय  है ।अविकसित और विकासशील  देशों से ऐसी घटनाओ की खबरें अधिक हैं   डॉ दिनेश मिश्र ने डायन प्रताड़नाऔरमानवाधिकार(witchcraft and human right)  विषय पर व्याख्यान देते हुए कहा महिला प्रताड़ना और उनके मानवाधिकार हनन के कारणों में एक प्रमुख कारण अंधविश्वास और डायन के संदेह में प्रताड़ना भी है जो एशिया के देशों ,नेपाल ,पाकिस्तान, बंग्लादेश,श्रीलंका , अफ्रीका के  अनेक देशों में जारी है।उनके पास एशिया सहित दक्षिण अफ्रीका ,तंजानिया ,यूगांडा अनेक देशों में घटित घटनाओं  के आंकड़े हैऔर मामलों की जानकारी है जो महिलाओं के अधिकारों को लेकर किये जाने वाले दावों और वास्तविकता स्थिति  के संबंध भिन्नता बताती है ।महिला प्रताड़ना के मामलों में तो उन्हें मानव या इंसान ही नही समझा जाता तो उन्हें मानव अधिकार देने के दावे झूठे साबित हो जाते है । अशिक्षा, स्वास्थ्य सुविधाओं  और ,वैज्ञानिक जागरूकता की कमी ,गैर जरूरी,परंपराओं    को  आंख मूंद कर पालन करने की आदत से न ही अंधविश्वास खत्म हो पाते हैं  और न ही पीड़ितों को राहत मिल पाती है । अफ्रीका में  काला जादू  मुस्लिम देशों में जिन्न,प्रेत,एशिया केबहुत से देशों  डायन ,चुड़ैल ,जैसे अंधविश्वास आज भी व्याप्त है जिनके कारण महिलाओ और बच्चों को शारीरिक मानसिक प्रताड़ना का शिकार होना पड़ता है अनेक मामलों में प्रताड़ना के चलते पीड़ितों की हत्या भो कर दी जाती है और उन्हें मारपीट अंगभंग ,सार्वजनिक अपमान ,सामाजिक बहिष्कार जैसी परिस्थिति का शिकार होना पड़ता है ।।  डॉ मिश्र ने कहा  विभिन्न अंधविश्वासों के कारण होने वाले मानवाधिकार हनन के मामलों  और डायन के संदेह में प्रताड़ना के निर्मूलन के लिए सामाजिक  जागरूकता अभियान,स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने व सक्षम कानून   बना महिलाओऔर सभी प्रताडितों  के अधिकारों की रक्षा की जासकती है ।दक्षिण अफ्रीका के बहुत से देशों में तो एल्बिनो को लेकर काफी अंधविश्वास है औरबड़ों के साथ बच्चोँ  का भी न केवल अंग भंग कर दिया जाता है ,बल्कि उनका अपहरण व क्रूरता पूर्वक हत्या तक हो जाती है ।यूनाइटेड नेशन्स को  डायन के संदेह में प्रताड़ित  महिलाओ के अधिकारों और उनके जीवन की रक्षा के लिए ठोस पहल करने की आवश्यकता है ताकि  प्रताडितों को राहत और न्याय मिल सके ।                यूनाइटेड नेशन्स के जिनेवा स्थित मुख्यालय में 21 व 22 सितंबर को आयोजित इस कार्यशालामें यूरोप ,अफ्रीका ,आस्ट्रेलिया, ब्रिटेन,कनाडा  ,के मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष, विश्विद्यालयों के प्रतिनिधि, सामाजिक कार्यकर्ता सहित यूनाइटेड नेशंस के मानवाधिकार परिषद केचेयरमेन काते गिलमोर,और यूनाइटेड नेशंस की प्रतिनिधि इरो इकपोनवोसा,विचक्राफ्ट एंड ह्यूमन राइट नेटवर्क के चेयरमेन गैरी फ़ॉक्सफ़ोर्ट सहित पदाधिकारियों ने भाग लिया                            













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